बसंत पंचमी पर बठिंडा में युवक की हत्या, पतंग खरीदने पर 11-12 लोगों का हमला!

पंजाब के बठिंडा जिले में स्थित गांव बल्लूआना में बसंत पंचमी के दिन एक दर्दनाक घटना ने पूरे क्षेत्र को झकझोर कर रख दिया। इस दिन एक पिता की निर्मम हत्या ने न केवल स्थानीय निवासियों को स्तब्ध किया, बल्कि पुलिस की कार्रवाई की जरूरत भी बढ़ा दी है। जब सुखराज सिंह नामक व्यक्ति अपने बेटे के लिए पतंग खरीदने गुरुद्वारा साहिब के निकट स्थित दुकान की तरफ जा रहे थे, तभी एक पुरानी रंजिश के चलते लगभग एक दर्जन व्यक्तियों ने उन पर ताबड़तोड़ हमला कर दिया। इस हमले में सुखराज को तेजधार हथियारों से गंभीर चोटें आईं, जिसके चलते उन्हें बठिंडा के सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया। डॉक्टरों ने उनकी स्थिति को नाजुक बताते हुए बेहतर इलाज के लिए उन्हें एक निजी अस्पताल में भेजने का निर्णय लिया, लेकिन दुर्भाग्यवश वहां उनका निधन हो गया।

सुखराज सिंह के अचानक निधन से उनके परिवार और गांव में शोक की लहर दौड़ गई है। पुलिस सूत्रों के अनुसार, मृतक सुखराज, दर्शन सिंह के पुत्र थे और गांव में कृषि कार्य करते थे। इस प्रकार की हिंसक घटना बसंत पंचमी जैसे खुशी के मौके पर होना एक अलार्मिंग स्थिति को दर्शाता है। इस घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस ने तुरंत मामले की जांच शुरू की। पुलिस अधीक्षक नरिंदर सिंह ने कहा है कि आधा दर्जन आरोपियों के खिलाफ विभिन्न कानूनी धाराओं में मामला दर्ज किया गया है और उनकी गिरफ्तारी के लिए छापेमारी जारी है।

इस घटना ने न केवल गांव बल्लूआना के निवासियों को डरा दिया है, बल्कि पूरे जिले में सुरक्षा को लेकर चिंताएं बढ़ा दी हैं। गौरतलब है कि पुलिस ने इस मामले में तेजी से कार्रवाई करते हुए आरोपियों की पहचान कर विशेष टीमों का गठन किया है। पुलिस का कहना है कि पुराने द्वेष और आपसी मतभेदों के कारण इस तरह की घटनाएँ कभी-कभी घटित होती हैं, लेकिन संबंधित अधिकारियों का यह कर्तव्य है कि वे इस प्रकार की घटनाओं को काबू में लाएं और क्षेत्र में शांति बनाए रखें।

इस हत्या की घटना से प्रभावित परिवार को कार्रवाई की उम्मीद है और साथ ही गांव के अन्य लोग भी इस तरह की हिंसा के खिलाफ एकजुट हो रहे हैं। पंचायतों और स्थानीय संगठनों ने भी इस तरह की हिंसा की निंदा की है और नागरिकों से अपील की है कि वे एक-दूसरे के साथ मिलकर इस दर्दनाक घटना का विरोध करें। ऐसी घटनाएँ हमारे समाज में विश्वास को कमजोर करती हैं और सुरक्षा के वातावरण को बिगाड़ती हैं। पुलिस की कार्यवाही के परिणामों का सभी को इंतजार रहेगा, जिससे यह स्पष्ट हो सकेगा कि क्या आरोपियों को कड़ा शिकंजा कसा जा सकेगा या नहीं।