पंजाब के कपूरथला जिले में पुलिस ने नशा तस्करी के खिलाफ एक महत्वपूर्ण कार्रवाई की है। CIA स्टाफ की टीम ने गांव बूट के दो युवक, जो कि नशा तस्करी में शामिल थे, को गिरफ्तार किया है। इस कार्रवाई में पुलिस ने आरोपियों के पास से 200 ग्राम हेरोइन बरामद की है। जिन युवकों को पकड़ा गया है, उनके खिलाफ थाना कोतवाली में एनडीपीएस अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया है, और उनसे उनके नेटवर्क के बारे में पूछताछ की जा रही है।
जानकारी के अनुसार, CIA कपूरथला में तैनात सहायक उप निरीक्षक केवल सिंह अपनी पुलिस टीम के साथ कपूरथला से कांजली की दिशा में जा रहे थे। इसी दौरान उन्होंने देखा कि पल्सर बाइक पर सवार दो युवक पुलिस को देखकर घबराए और तुरंत पीछे की ओर मुड़ने का प्रयास करने लगे। लेकिन उनकी बाइक अचानक फिसल गई और वे सड़क पर गिर पड़े। जब पुलिस ने स्थिति को भांपा, तो दोनों युवकों को पकड़ने में कामयाबी हासिल की। बताया जाता है कि इन युवकों ने अपनी जेब से दो प्लास्टिक लिफाफों की पुड़िया को सड़क किनारे फेंक दिया था।
पुलिस ने जब फेंकी गई पुड़िया को जांचा, तो उसमें से क्रमशः 150 ग्राम और 50 ग्राम हेरोइन मिली, जिससे स्पष्ट है कि यह दोनों युवक नशा तस्करी में लिप्त थे। CIA के इंचार्ज जरनैल सिंह ने बताया कि गिरफ्तार किए गए आरोपियों की पहचान जसविंदर सिंह और परमजीत सिंह के रूप में हुई है। दोनों का संबंध गांव बूट से है। पुलिस ने दोनों आरोपियों के खिलाफ उचित कानूनी कार्रवाई करते हुए FIR दर्ज कर दी है और अब आगे की जांच की प्रक्रिया शुरू हो गई है।
इस घटना ने नशा तस्करों के खिलाफ पुलिस की मुहिम को एक नई दिशा दी है। कपूरथला पुलिस लगातार इस तरह के नशे के मामलों में सख्त कार्रवाई कर रही है, जिससे समाज में इस अवैध कारोबार पर अंकुश लगाया जा सके। पुलिस का कहना है कि वे नशे के कारोबारियों के नेटवर्क का पता लगाने के लिए हर संभव प्रयास करेंगी ताकि इस समस्या से निपटा जा सके। समुदाय में बढ़ते नशीले पदार्थों के उपयोग के कारण युवा पीढ़ी प्रभावित हो रही है, और इसे रोकने के लिए पुलिस की यह कार्रवाई एक सकारात्मक कदम है।
इस प्रकार की कार्रवाइयाँ न केवल तस्करों को दंडित करने के लिए बल्कि समाज में जागरूकता फैलाने के लिए भी महत्वपूर्ण हैं। पुलिस का यह प्रयास नशे के खिलाफ लड़ाई को और मजबूत बनाएगा और लोगों को सुरक्षित महसूस करने में मदद करेगा। कपूरथला की पुलिस द्वारा उठाए गए कदम अन्य जिलों के लिए भी प्रेरणा का स्रोत बन सकते हैं, ताकि समाज में नशे के खतरे को समझा जा सके और इसके खिलाफ एकजुट होकर लड़ाई लड़ी जा सके।